भारत में प्रतिवर्ष 15 सितंबर को अभियन्ता दिवस (इंजीनियर्स डे) के रूप में मनाया जाता है। इस खास दिन को देश और दुनिया में अपनी प्रतिभा का लोहा मनवा रहे Engineer’s के काम को सरहाने और उन्हें प्रोत्साहित करने के लिए मनाया जाता है। लेकिन क्या आप जानते हैं, इस दिन की शुरुआत कब हुई थी और किसकी महान हस्ती की याद में इस दिन को Engineer’s Day के रूप में सेलिब्रेट किया जाता है। आइए जानते हैं। इसी दिन भारत के महान अभियन्ता एवं भारतरत्न मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया का जन्मदिन है। 1903 में, सर एम विश्वेश्वरैया ने ऑटोमैटिक बैरियर वाटर फ्लडगेट को डिजाइन और पेटेंट कराया था. इसे ब्लॉक सिस्टम भी कहा जाता है,
इसमें ऑटोमेटेड दरवाजे होते हैं जो पानी के अतिप्रवाह की स्थिति में बंद हो जाते हैं. इसे सबसे पहले पुणे के खड़कवासला जलाशय में स्थापित किया गया था. 1861 में कर्नाटक में चिक्कबल्लापुर के पास एक छोटे से गाँव में जन्मे, सर एम विश्वेश्वरैया ने मद्रास विश्वविद्यालय से कला स्नातक की पढ़ाई की और पुणे के कॉलेज ऑफ़ साइंस से सिविल इंजीनियरिंग की. 1917 में, उन्होंने गवर्नमेंट इंजीनियरिंग कॉलेज की स्थापना की, जिसे अब बेंगलुरु विश्वविद्यालय विश्वेश्वरैया कॉलेज ऑफ़ इंजीनियरिंग के रूप में जाना जाता है सिंचाई, बाँध व बाढ़ नियंत्रण के क्षेत्र में किए गए उनके असाधारण व उल्लेखनीय कार्यों के लिए उन्हें आज भी याद किया जाता है।मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया भारत के लिए बहुत से विकास कार्य किये हैं। मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया जी ने बहुत सी नदियों, नालों और बांधों का निर्माण कार्य किया था. इन्होंने भारत में सिंचाई और पेयजल प्रणाली लाकर पूरे देश की सिंचाई पद्धति में बदलाव लाया था। विश्वेश्वरैया जी ने भारत में इंजीनियरिंग क्षेत्र में विशेष योगदान दिया था इसीलिए इन्हें ‘भारत रत्न’ पुरष्कार से भी सम्मानित किया गया था.विश्वेश्वरैया जी बचपन से ही शिक्षा को महत्व देते थे और ये गरीबी और भुखमरी का कारण अशिक्षा को ही मानते हैं. मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया जी ने बहुत से आसाधारण कार्य किये गए थे. इनके द्वारा किये गए कार्यों में कृष्णराज सागर बांध का निर्माण, मैसूर संदल ऑइल एंड सोप फैक्ट्री, बैंक ऑफ मैसूर, भद्रावती आयरन एंड स्टील वर्क्स की स्थापना आदि हैं।
एम. विश्वेश्वरैया भारत के महान इंजिनियरों में से एक थे, इन्होंने ही आधुनिक भारत की रचना की और भारत को नया रूप दिया। उनकी दृष्टि और इंजीनियरिंग के क्षेत्र में समर्पण भारत के लिए कुछ असाधारण योगदान दिया इंजीनियर्स डे भारत के महान इंजीनियर मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया जी को समर्पित है और भारत में हर वर्ष इनके जन्मदिवस पर ही इंजीनियर्स डे मनाया जाता है. मोक्षमुंडम विश्वेश्वरैया जी का जन्म 15 सितंबर 1860 को भारत के मैसूर में हुआ था जो आज कर्नाटका राज्य बन गया है. इसलिए पुरे भारतवर्ष में 15 सितंबर को इंजीनियर्स डे के रूप में मनाया जाता है.