कोलकाता, चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने सोमवार को ट्विटर पर दावा किया कि पश्चिम बंगाल में आगामी विधानसभा चुनाव में भाजपा को दहाई का आंकड़ा पार करने के लिए मशक्कत करनी पड़ेगी।
गृह मंत्री अमित शाह के हालिया पश्चिम बंगाल दौरे के दौरान टीएमसी के कई नेता भगवा दल में शामिल हो गए थे और अमित शाह ने आगामी विधानसभा चुनावों में 200 से ज्यादा सीटें जीतने का दावा किया था।
किशोर ने 2014 के चुनावों में प्रधानमंत्री पद के लिये नरेंद्र मोदी के अभियान का सफलतापूर्वक प्रबंधन किया था और इस बार अगले साल अप्रैल-मई में संभावित पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनावों में अपनी पार्टी की संभावनाएं बेहतर बनाने के उद्देश्य से टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी ने उनकी सेवाएं ली हैं।
किशोर ने कहा कि यदि भाजपा दो अंकों से अधिक सीट प्राप्त कर लेती है तो वह ट्विटर छोड़ देंगे। उनके इस बयान के बाद माइक्रो ब्लॉगिंग वेबसाइट पर भाजपा नेताओं के साथ जुबानी जंग शुरू हो गई।
उन्होंने ट्वीट किया, “समर्थक मीडिया के एक वर्ग द्वारा बढ़ा-चढ़ा कर बनाए गए माहौल के विपरीत पश्चिम बंगाल में भाजपा को दो अंक का आंकड़ा पार करने के लिए मशक्कत करनी पड़ेगी।”
किशोर ने कहा, “कृपया यह ट्वीट सुरक्षित कर लीजिये और अगर भाजपा इससे अच्छा प्रदर्शन करती है तो मैं ट्विटर छोड़ दूंगा।”
भाजपा को बंगाल में उस वक्त बल मिला जब शनिवार को प्रदेश की राजनीति में अहम कद रखने वाले शुभेंदु अधिकारी, नौ विधायक और टीएमसी के एक सांसद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की मौजूदगी में पार्टी में शामिल हो गए।
शाह ने कहा था कि उनकी पार्टी आगामी चुनावों में 200 से ज्यादा सीटों पर चुनाव जीतेगी।
किशोर के ट्वीट के जवाब में भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि बंगाल के चुनाव के बाद देश एक चुनावी रणनीतिकार खो देगा।
विजयवर्गीय ने ट्वीट किया, “बंगाल में भाजपा की सुनामी को देखते हुए एक बार नई सरकार बन गई, तो देश एक चुनावी रणनीतिकार को खो देगा।”
केंद्रीय मंत्री बाबुल सुप्रियो ने प्रशांत किशोर पर निशाना साधते हुए ट्वीट किया, “बहुत खुश हूं कि ऐसे ‘बयान’ दे सकने वाला एक ‘विशेषज्ञ’ तृणमूल कांग्रेस और ममता बनर्जी के चुनाव अभियान का नेतृत्व कर रहा है। वह किस दुनिया में हैं, टीएमसी उन्हें क्या खिलाती है, 2021 में एक अच्छी चीज होने वाली है, न रहेगा सांप (टीएमसी), न बजेगी (पीके की) बांसुरी।”
पश्चिम बंगाल में अगले साल अप्रैल मई में विधानसभा के चुनाव होने हैं।