हजारीबाग: बड़कागांव थाने से फरार सोशल मीडिया पर हथियारों के साथ तस्वीरों को वायरल करने वाले कुख्यात गैंगस्टर अमन साव को झारखंड पुलिस की टीम ने कटिहार से दबोचा।उसके साथ कई अन्य अपराधियों को भी हथियार के साथ गिरफ्तार किए जाने की खबर है। अमन साव को रांची पुलिस ट्रांजिट रिमांड पर रांची लेकर आएगी और उससे पूछताछ की जाएगी।वर्ष 2019 के सितंबर माह में फरार हुए कुख्यात गैंगस्टर अमन साव को रांची पुलिस सहित अन्य जिलों की टीम ने बिहार के कटिहार से दबोच लिया है। उसके साथ अन्य कई अपराधी भी पकड़े गए हैं। हथियार भी मिलने की सूचना है। रांची पुलिस अब अमन साव को ट्रांजिट रिमांड पर लेकर रांची आएगी।खबरों के अनुसार पिछले वर्ष 2019 सितंबर माह से अमन साव फरारी में बिहार में पनाह लिए हुए था। इस बात के गुप्त सूचना पुलिस को मिली और पुलिस ने एक विशेष टीम का गठन कर अमन साव को बिहार से धर दबोचा।अमन साव लगातार सोशल मीडिया पर बड़े-बड़े हथियारों के साथ अक्सर अमन फेसबुक, इंस्टाग्राम, वाट्सएप सहित अन्य सोशल साइट पर अपनी तस्वीरें और वीडियो वायरल करता था। इसका मकसद युवाओं को भटकाना और गिरोह से जोड़ने का था। पुलिस उसके सोशल मीडिया पर निगाह रखी हुई थी।गौरतलब है कि रांची के चार कोयला व्यवसायियों से एक करोड़ की रंगदारी की मांग की गई थी। रंगदारी ना देने पर की उनकी हत्या की योजना बनाकर अमन साव ने अपने शूटरों को रांची भेजा था। जिनमें से पांच शूटरों को रांची में पुलिस ने दबोच लिया था। जिनके पास से छह पिस्टल, दो रिवाल्वर, दो देशी कट्टा और 43 गोलियां बरामद की गई थी। पुलिस की गिरफ्त में आए सभी शूटरों को सोमवार को जेल भेज दिया गया।जिनमें धनबाद जिले के तेतुलमारी थाना क्षेत्र निवासी अभिजीत कुमार सिंह उर्फ सेंटी सिंह, रांची जिले के सिकिदिरी थाना क्षेत्र निवासी अजय कुमार, चुटिया थाना क्षेत्र के पावर हाउस के समीप रहने वाले जगत कुमार उर्फ लक्की उर्फ गोलू, अनगड़ा थाना क्षेत्र के शिवनारायण महतो व रातू थाना क्षेत्र के समीर कुमार बागची उर्फ कल्लू बंगाली शामिल हैं।खबरों के अनुसार जमशेदपुर के घाघीडीह जेल में बंद कुख्यात गैंगस्टर सुजीत सिन्हा गैंग से एक निश्चित सौदेबाजी के तहत रामगढ़ और हजारीबाग में सक्रिय गैंगस्टर अमन साव ने अपने गुड काबिले कर लिया था। दोनों में यह समझौता हुआ था कि सुजीत सिन्हा जेल से ही गैंग को दिशा निर्देशित करके अपनी योजना को मूर्त देगा और अमन साव गैंग चलाएगा।बताया जाता है कि दोनों गैंग का मकसद कोयला व्यवसायियों मे खौफ कायम कर रंगदारी वसूलना था। सुजीत सिन्हा के जेल में होने के कारण कोयलांचल में उसका दबदबा खत्म हो रहा था। इस दबदबा को बरकरार रखने के लिए सुजीत सिन्हा ने अमन बैंक के साथ विलय कर लिया था।खबरों के अनुसार यह राज तब खुला जब चुटिया इलाके में पुलिस की गिरफ्त में आए पांच अपराधियों ने पुलिस को बताया कि अमन साव गिरोह का विलय सुजीत सिन्हा गैंग में होने के कारण अब एक ही गैंग रंगदारी वसूल करेगा। न्यूज़ सोर्स न्यूज़ मकरान्त देवघर